Tuesday, August 30, 2011

कुत्ते !!! ..... कमीने !!!......... जरा ध्यान दें

कुत्ते !!! ..... कमीने !!!......... जरा ध्यान दें

ऐ मेरे दोस्त काश तू कुत्ता होता .....
ऐ मेरे दोस्त काश तू कुत्ता होता .....
कम से कम वफादार तो होता .

कुछ दिन पहले मेरे मोबाइल पर ये मेसेज आया, जिसका अर्थ निकलता है की दोस्त बेवफा हो सकते हैं लेकिन कुत्ता हमेशा वफादार होता है.
बचपन से पढ़ते आए " डॉग इज ऐ फेथफुल एनिमल" . किसी औ जानवर या इंसान के बारे में कभी ऐसे फेथफुल गुण होने का बखान नहीं मिलता है.  और कही भी कहा नहीं गया है की किसी पर हम कुत्ते जैसा भरोसा कर सकते हैं.
भरोसेमंद और वफादार तो आज के जीवन में कौन बचा है, ये तो समाज को आइना दिखने वाले टी वी धारावाहिकों से साफ़ ज़ाहिर होता है.
मैं तो कहता हूँ की किसी बुरे इन्सान को कुत्ते की संज्ञा देना ही बुरी बात है........ और एक फेथफुल एनिमल की सरासर बेईज्ज़ती है.
वो कुत्ता ही था जो धर्मराज युधिष्ठिर के साथ अंत तक रहा. हर शनिवार को शनि मंदिर के बाहर जब आप दर्शन करके निकलते हैं तो बाहर मौजूद कुत्तों को विशेषकर काले कुत्ते को प्रसाद जरुर खिलाते हैं ...... वो भी बड़े मोहब्बत से.
कुत्ते प्रकार प्रकार के होते हैं. ...... जैसे सड़क पर टहलने वाले देसी कुत्ते और डॉग शो में बड़ी बड़ी गाड़ियों में बैठ कर आने वाले तमाम देसी एवं विदेशी नस्ल के कुत्ते. लेकिन साहब कुत्ते के साथ कमीने का कोम्बिनेशन समझ नहीं आता. बड़ी सी लक्सरी गाड़ी में पीछे की सीट पर बैठ कर ...खिड़की से झाँक कर "पिक ....पिक " करने वाले स्पिट्ज़ या पामेरियन को कभी जोर से कुत्ते - कमीने कहकर देखिये .......क्या होता है. सबसे पहले तो पेज ३ पर छपने वाली उसकी युवा कम प्रौढ़ा मालकिन आपको पता नहीं किस किस अंग्रेजी उपाधियों से नवाज़  देगी.
विभिन्न स्थानों पर सुरक्षा में लगे जर्मन शेपर्ड और लाब्राडोर प्रजाति के कुत्ते अगर इतने गिरे हुए या कमीने होते तो पूरे विश्व में सुरक्षा व्यवस्था में इन्हें क्यों स्थान दिया जाता?
अंतरिक्ष में जाने वाला पहला जानवर भी एक कुत्ता ही था. भरोसेमंद और वफादार होने की वजह से ही उसे ले जाया गया वहां तक.
क्या अपने कभी सुना है कुत्ते की कमीनागिरी के बारे में? नहीं न...... यही तो कारण है इस मुद्दे पर इतनी वकालत करने का.
तो फिर ये धरमेंदर साहब क्यों ये कहते हैं की " कुत्ते - कमीने मैं तेरा खून पी जाऊंगा". बहुत सोचने और विचारने के बाद भी ये समझ नहीं आया की कुत्ते के साथ कमीने शब्द को क्या सोच कर और किसने जोड़ने की जुर्रत की होगी.
तो दोस्तों कुत्ता होना अच्छी बात है. यदि सड़क पर चलते कोई आपको कुत्ता कह दे तो मुस्कुरा कर धन्यवाद कहिये ..... और साथ में अगर कमीना भी कहे तो लड़ जाइये और अच्छी तरह समझा दीजिये अगर  मैं कुत्ता हूँ तो कमीना कैसे हो सकता हूँ? ......... हाँ सिर्फ कमीना बोलना है तो बोलो.
 आज के समय में कौन कुत्ता है और कौन कमीना है ये समझना पड़ेगा पर जरा ध्यान दें .... कुत्ता , कमीना नहीं होता.

5 comments:

  1. I need a Doggy in my life....;)...hehehehe....koi sarvgud sampann doggy kisi ki nazar me ho to kripya mujhe soochna de...:)

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  2. बहुत बढ़िया.....सर वाजिब प्रशन है की कुत्ते के साथ कमीना क्यों जोड़ते है......मुझे नहीं लगता की कुत्ते से जयादा वफादार और कौन है ?...और इंसान को कुत्ता कहना तो कुत्ते को गाली है और इंसान को सबसे बड़ा कॉम्प्लीमेंट .....शीर्षक भी काबिल ऐ तारीफ़ है ऐ दोस्त तू कुत्ता होता.....

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  3. Try to understand , Kutte suru se he insaano ke sath rahe hain . Jaise aur pair banate hain --- seeta-geeta , achha -bura etc , vaise he Kutta - Kamina hai . Kutta to Kutte ke liye aur Kamina ------ ke liye . Ek question hai , kye kutiya kamini ka koi combination nahin hai?

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  4. साधुवाद! बहुत सुन्दर और अर्थपूर्ण लेख। ये बिल्कुल सही बात है कि इंसान कमीना तो ज़रूर बन सकता है और उसका कमीनापन जग जाहिर भी है, लेकिन कुत्ते जैसा वफ़ादार शायद कभी नहीं। कमीनापन तो सिर्फ़ इंसान की फ़ितरत है।

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